बिहार में विधानसभा चुनाव का ऐलान अब 30 सितंबर के बाद कभी भी हो सकता है। ऐसे में अपना चुनावी चेहरा चमकाने की नेताओं और खासकर सीटिंग विधायकों में होड़ मच गई है। लेकिन इसी चक्कर में RJD के एक विधायक ने तो हद ही कर दी। उन्होंने जल्दबाजी में अपने क्षेत्र की अधूरी बनी सड़क का ही उद्घाटन कर दिया, बल्कि अपना श्रेय लूटने वाला बोर्ड भी वहां लगवा दिया। मामला मधुबनी के पंडौल का है जहां आरजेडी विधायक और पूर्व मंत्री समीर कुमार महासेठ ने इस कारनामे को अंजाम दिया। उन्होंने मधुबनी जिले की एक अधूरी सड़क का उद्घाटन कर दिया। स्थानीय लोगों के विरोध के बाद विभागीय अधिकारियों ने मामले की जांच कराई और फिर आनन-फानन में विधायक द्वारा उनके नाम वाला वहां लगावाये गए उद्घाटन का बोर्ड हटाया गया।
मधुबनी के पंडौल का मामला
जानकारी के अनुसार पंडौल प्रखंड के सरिसब पाही पूर्वी स्थित बिट्ठो गांव में मुख्यमंत्री ग्राम संपर्क योजना के तहत 1.11 करोड़ रुपये की लागत से 1.361 किलोमीटर सड़क बनाई जानी थी। अभी इस सड़क का निर्माण कार्य केवल मिट्टी भराई के चरण तक ही पहुंचा था। लेकिन चूंकि चुनाव सिर पर है और जनता के बीच नेताजी को जाना है। इसके लिए उनके पास लोगों को बताने वास्ते कुछ तो होना चाहिए। इसी चक्कर में स्थानीय राजद विधायक समीर कुमार महासेठ ने दो माह पूर्व ही अपने नाम का शिलापट्ट लगाकर इस अधूरी बनी सड़क का उद्घाटन कर दिया। चौंकाने वाली बात यह है कि निर्माण के केवल प्रारंभिक चरण तक पहुंची इस सड़के के करीब 150 मीटर तक के केवल शुरुआती हिस्से का ही ठेकेदार ने भी पीसीसी का काम कर दिया। दिलचस्प है कि उसने बाकी का काम अधूरा छोड़ दिया। बाद में कार्य समाप्ति का बोर्ड भी यहां लगा दिया गया।
RJD विधायक महासेठ ने क्या कहा?
मामला सामने आने के बाद जांच शुरू की गई जिसमें पता चला कि उस सड़क के निर्माण का काम तब से ही बंद है। अब लोग आशंका जता रहे कि कहीं यह कागजों में अधूरी सड़क को पूरी बनी दिखा फर्जीवाड़ा की जीती जागती मिसाल तो नहीं। बताया जाता है कि जांच के दौरान सरिसब पाही पंचायत की अन्य योजनाओं में भी गड़बड़ी मिली है। मुख्यमंत्री ग्रामीण पथ अनुरक्षण कार्य योजना के तहत बनी दो सड़कों में नाम और स्थान की हेराफेरी की बात भी सामने आ रही है।
ग्रामीणों का कहना है कि उद्घाटन होते ही संवेदक, कार्य समाप्ति का बोर्ड लगा देता है और काम बंद कर देता है। क्षेत्र में नेताओं और ठेकेदारों की मिलीभगत की भी चर्चा है। विधायक महासेठ ने इसपर पूछने पर कहा कि उन्हें परियोजना अधूरी छोड़े जाने की कोई जानकारी नहीं है। अगर कोई गड़बड़ी सामने आती है तो कार्रवाई कराई जाएगी।