बिहार विधानसभा चुनाव की तारीखों का आधिकारिक ऐलान होते ही राज्य में राजनीतिक सरगर्मियां अपने चरम पर हैं। चुनाव कार्यक्रमों की घोषणा के साथ ही सभी राजनीतिक दल तत्काल प्रभाव से चुनावी मोड में आते हुए अपनी तैयारियों को अंतिम रूप देने में जुट गए हैं। नेताओं ने अब जमीनी स्तर पर चुनाव प्रचार की तैयारी शुरू कर दी है। बिहार विधानसभा चुनाव के लिए इस बार भारतीय जनता पार्टी और जदयू ने एक खास रणनीति बनाई है। खबर है कि NDA ने अपने प्रचार अभियान की रूपरेखा तय कर ली है जिसके तहत प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में जनता के बीच सीधा और प्रत्यक्ष संवाद की रणनीति अपनाई जाएगी। NDA के इस मेगा चुनावी प्लान में सभी 243 विधानसभा क्षेत्रों को 10 क्लस्टरों में बांटकर इसे अंजाम दिया जाएगा। इसके तहत भाजपा की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राज्य में प्रत्येक क्लस्टर वाइज 10 चुनावी रैलियां करेंगे, जिनकी संख्या जरूरत पड़ने पर बढ़ाई जा सकती है। वहीं जदयू की ओर से मुख्यमंत्री नीतीश 10 अक्टूबर के बाद रोजाना कम से कम 4 रैलियां करेंगे।
विस क्षेत्रों को 10 क्ल्स्टरों में बांटने की रणनीति
प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के अलावा NDA की इस चुनावी रणनीति में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी 25-25 चुनावी सभाओं को संबोधित करेंगे। जबकि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सीमांचल क्षेत्र में 10 रैलियां करेंगे। वहीं जदयू की तरफ से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार 10 अक्टूबर के बाद प्रतिदिन चार रैलियां करेंगे और प्रधानमंत्री मोदी की जनसभाओं में उनके साथ मंच साझा करेंगे। जहां तक NDA के इस मेगा चुनावी प्लान की बात है तो सूत्रों ने बताया कि राज्य की समस्त विधानसभा क्षेत्रों को 10 क्लस्टरों में बांटने के बाद भाजपा और इससे जुड़े संगठनों के लोग डोर टू डोर जाकर आम लोगों से सीधा और प्रत्यक्ष संवाद करेंगे। इसमें लोगों की बात सुनना और उनकी बात ऊपर तक पहुंचाना तथा अपनी बात आम लोगों से करना शामिल है। यह प्रक्रिया सभी
क्लस्टरों में और सभी विधानसभा क्षेत्रों में एकसाथ अंजाम दी जाएगी।
डोर टू डोर संवाद, PM की 10, CM की रोज 4 सभा
इधर जदयू ने भी NDA में सहयोगी दलों के साथ तालमेल के तहत अपने कार्यकर्ताओं को सक्रिय कर दिया है। मुख्यमंत्री के अलावा केंद्रीय मंत्री ललन सिंह और जदयू के कार्यकारी अध्यक्ष संजय झा भी चुनाव प्रचार में सक्रिय भूमिका निभायेंगे।राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार एनडीए के इस चुनावी मेगाप्लान और 10 क्लस्टर की योजना का कोई तोड़ बाकी किसी भी गठबंधन या राजनीतिक दल के पास नहीं है। क्योंकि जहां एनडीए में भाजपा और जदयू के पास संगठन की एक बहुत बड़ी शक्ति मौजूद है, वहीं महागठबंधन में इसका घोर अभाव है। इसबीच निर्वाचन आयोग ने भी चुनाव की तैयारियां पूरी कर ली हैं। आयोग के अधिकारियों ने चुनाव के दौरान सुरक्षा और लॉजिस्टिक्स की समीक्षा के साथ ही SIR के तहत मतदाता सूची में संशोधन की प्रक्रिया पूरी कर ली है। आधिकारिक कार्यक्रम के अनुसार, 243 विधानसभा सीटों पर मतदान दो चरणों में होगा—पहला चरण 6 नवंबर को और दूसरा चरण 11 नवंबर को, तथा मतगणना 14 नवंबर को होगी।