बिहार के कई जिलों में कोहरे और ठंड का असर दिख रहा है। बढ़ती ठंड, कोहरा और वायु प्रदूषण, इन तीनों ने एक साथ मिलकर हाजीपुर में स्मॉग जैसे हालात कर दिये हैं। यहां हवा की वायु गुणवत्ता खतरनाक लेवल से काफी आगे जाकर बहुत खराब स्तर पर पहुंच गई है। केंद्रीय प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड के अनुसार, सुबह 9 बजे हाजीपुर औद्योगिक क्षेत्र में वायु गुणवत्ता का AQI लेवल 403 पहुंच गया है। यह बेहद खराब और जहरीली हवा वाली श्रेणी का माना जाता है जो कई स्वास्थ्य परेशानियां खड़ी कर सकता है।
पटना और मुजफ्फरपुर में भी हालात बेहद खराब
मौसम विभाग द्वारा जारी आज के आंकड़ों के अनुसार प्रदेश के कई जिलों की आबो हवा बेहद खराब हो गई है। पटना के पास डीआरएम ऑफिस दानापुर के नजदीक आज सुबह AQI 332 दर्ज किया गया है। यह हवा की बेहद ही खराब श्रेणी मानी जाती है। राजधानी पटना के अलावा मुजफ्फरपुर में बुद्धा कॉलोनी के पास भी हवा बेहद खराब श्रेणी में है। यहां AQI लेवल 351 दर्ज किया गया है। वहीं हाजीपुर इंडस्ट्रियल एरिया में सुबह 9 बजे AQI 403 दर्ज किया गया है जो बेहद ही घातक है।
बिहार के बाकी जिलों का कैसा है आंकड़ा
बिहार के अन्य कई जिलों में भी सांस लेना मुश्किल हो गया है। गया में सुबह 9 बजे AQI 294, अररिया में 221, सहरसा में 233, समस्तीपुर में 226, सासाराम में 233, छपरा में AQI 190, बक्सर में 252, भागलपुर में 145 दर्ज किया गया है। बेतिया में भी हवा काफी प्रदूषित है। यहां AQI लेवल 253 दर्ज किया गया है। दूसरी तरफ मुंगेर में AQI लेवल मध्यम श्रेणी में है। यहां AQI 105 दर्ज किया गया है। इसी तरह मोतिहारी में 161, किशनगंज में 176, कटिहार में 136 दर्ज किया गया है। पूर्णिया में 74 AQI लेवल दर्ज किया गया है जो राज्य में सबसे अच्छा कहा जा रहा है।
क्या होता है वायु प्रदूषण मापने का AQI तंत्र
AQI यानी एयर क्वालिटी इंडेक्स या वायु गुणवत्ता सूचकांक हवा में प्रदूषण कितना है, यह जानने का एक तरीका है। इससे पता चलता है कि हवा हमारे लिए कितनी साफ या गंदी है। AQI में PM2.5, PM10, NO2, SO2, CO और O3 जैसे प्रदूषकों को मापा जाता है। ये प्रदूषक हमारी सेहत के लिए हानिकारक होते हैं। AQI की गणना हवा में मौजूद प्रदूषकों की मात्रा को मापकर की जाती है। हर प्रदूषक के लिए एक मानक तय होता है और उसी हिसाब से AQI का स्कोर दिया जाता है।