नवादा : जिले के उग्रवाद प्रभावित रजौली में वन्यजीवों के संरक्षण को लेकर केंद्र और राज्य सरकारें मिल कर कई तरह के कार्यक्रम आयोजित कर लोगों कोर्ट जागरूक कर रही है ताकि वन्यजीवों के अवैध शिकार पर रोक लगाया जा सके। लेकिन जंगली क्षेत्रों में आये दिन वन्यप्राणियों की निर्मम तरीके से शिकार किया जा रहा है जिससे वन्यजीवों के अस्तित्व पर खतरा मंडराने लगा है। कुछ ऐसा ही मामला रजौली वनक्षेत्र के जमुन्दाहा जंगल से सामने आया है, जहां हिरण के सींग मिलने से इलाके में सनसनी फैल गई है। हिरण के सींग मिलने से कई तरह के अफवाहों का बाजार गर्म है। सींग बरामद होने की सूचना पर जमुन्दाहा जंगल पहुंचे वन विभाग की टीम ने हिरण के सींग को जब्त कर वन परिसर रजौली लाया है।
इस संबंध में रेंजर मनोज कुमार ने बताया कि गुप्त सूचना मिली कि झारखंड से आये आदिवासी मजदूरों के द्वारा हिरण का शिकार किया जा रहा है। सूचना के आलोक वन विभाग के कर्मियों को जमुन्दाहा पीएफ के पास भेजा गया और हिरण के सींग को जब्त कर वन विभाग रजौली लाया गया। हिरण के शिकार में शामिल को गिरफ्तार करने के लिए लगातार छापेमारी किया जा रहा है। बहुत जल्द हिरण के अवैध शिकार में शामिल लोगों को गिरफ्तार करने का प्रयास किया जा रहा है।
सूत्रों की मानें तो रजौली वनक्षेत्र के जंगली इलाकों में बड़े पैमाने पर झारखंड राज्य के खूँटी से आकर आदिवासी मजदूर अवैध तरीके से घर बनाकर रह रहे हैं। इनलोगों के द्वारा जंगली जानवरों का शिकार कर तस्करी किया जा रहा है। जिस तरह से इन आदिवासियों की जनसंख्यां रजौली वन क्षेत्र में लगातार बढ़ रही है, उससे आनेवाले दिनों में वन्यजीव सहित हरे पेड़ों के अस्तित्व पर खतरा बढ़ता जा रहा है। बावजूद वन विभाग मौन साधे तमाशा देख रहा है। बता दें रजौली व कौआकोल वन क्षेत्रों में आये दिन हिरण का शिकार होते आ रहा है। वन विभाग अवशेष बरामद कर अपने कर्तव्य की गति श्री कर लेती है। यही कारण है कि सिलसिला थमने के वजाय दिनों दिन बढ़ता जा रहा है।
भईया जी की रिपोर्ट