नवादा : गुरुवार को जिले में बेमौसम की जोरदार हवा के साथ बारिश व ओलावृष्टि हुई जिसके बाद किसानों के चेहरे पर मायूसी देखी जा रही है। ईंट उद्योग को जबर्दस्त नुकसान हुआ। खेतों में तैयार गेहूं फसल बारिश की वजह से बर्बाद हो गई है जिसकी वजह से अब किसानों की चिंता बढ़ गई है। तेज बारिश और हवा ने किसानों के खेतों में लगे गेहूं, मक्का समेत गर्मा सब्जी को जबर्दस्त नुकसान हुआ है।
किसान एक तरफ फसल काट कर घर ले जाने की तैयारी में लगे ही थे कि तेज हवा और बारिश के साथ ओलावृष्टि ने सबकुछ तबाह कर दिया। कई जगहों पर कटे फसल बारिश की पानी में डूब गए। किसानों ने बताया कि खेतों में बारिश का पानी भर गया जिससे कटे हुए फसल डूब कर बर्बाद हो गए। किसानों ने कहा कि कटे हुए गेंहू के फसल पानी में भींगने से दाना खराब हो जाता है। किसानों का कहना है कि मार्च अंत तक गेहूं की फसल पकने लगती है। ऐसे में बेमौसम बारिश के कारण फसलों को नुकसान पहुंचा है।
वहीं कुछ किसानों के खेतों में काटी गई गेहूं की फसल जो बंडल बनाकर खेत में ही रखा गया था, वह पानी के कारण बर्बाद हो गया। दूसरी ओर तेज आंधी से सैकड़ों वृक्षों के गिरने से कई घरों को नुक्सान हुआ तो वज्रपात से मेसकौर व सोनसिहारी गांव में ताड़ के पेड़ धू धूकर जल गये तो अकबरपुर प्रखण्ड क्षेत्र के हनुमानगढ़ गांव में राजकुमार प्रसाद की मौत हो गई। कई स्थानों पर बिजली के पोल उखड़ गए तो कई स्थानों पर बिजली के तार टूटकर गिरने से बिजली आपूर्ति ठप हो गई। लाखों कच्चे ईंट के पानी में गलने से मेहनत मजदूरी के पैसे पानी में चले जाने ईंट भट्ठा मालिकों को जबर्दस्त नुकसान हुआ है। कुल मिलाकर बेमौसम बारिश ने लाभ कम किसानों व ईंट भट्ठा संचालकों को जबर्दस्त नुकसान पहुंचाया है।
भईया जी की रिपोर्ट