नवादा : बिहार का कश्मीर कहा जाने वाला ककोलत जलप्रपात जल्द ही पर्यटकों से गुलजार होने लगेगा। जलप्रपात के नव निर्माण का उद्घाटन 29 जुलाई को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार करेंगे। मुख्यमंत्री के आगमन को लेकर प्रशासनिक तैयारियां शुरू हो गई हैं. पिछले तीन सालों से ककोलत जलप्रपात पर्यटकों के लिए बंद है। उद्घाटन के बाद इसे फिर से खोल दिया जाएगा।
कोरोना काल से है बंद
कोरोना काल से ही ककोलत जलप्रपात बंद था। उद्घाटन के बाद इसे पर्यटकों के लिए फिर से खोल दिया जाएगा। पिछले तीन-चार सालों में ककोलत जलप्रपात में काफी काम हुआ है। ककोलत बंद रहने के कारण पर्यटक झारखंड के पेट्रो जलप्रपात जाते थे, अब ककोलत चालू होने से पर्यटकों की भीड़ फिर से उमड़ने लगेगी।
करोड़ों की लागत से किया गया सौंदर्यीकरण
करोड़ों रुपए की लागत से ककोलत जलप्रपात को नया लुक दिया गया है।अब यह नए स्वरूप में दिखेगा।
वाहनों के लिए पार्किंग की होगी व्यवस्था :- वाहन पार्किंग की सुविधा होने से पर्यटक बेफिक्र होकर जलप्रपात का आनंद ले सकेंगे। इसके अलावा महिलाओं के लिए कपड़ा बदलने के लिए कमरा, शौचालय, नहाने के लिए पूल आदि की व्यवस्था होगी। पर्यटक प्रदूषण मुक्त वातावरण में मुख्य द्वार नेचर सफारी का आनंद ले सकेंगे।
2019 में सीढ़ियों का हुआ निर्माण
वर्ष 2019 में ककोलत में 2.27 करोड़ की लागत से 188 सीढ़ियों का निर्माण कराया गया था। इस बीच कोरोना काल में काम बंद होने और तकनीकी दिक्कतों के कारण यह प्रोजेक्ट लंबे समय तक अटका रहा। 2022 में फिर से काम शुरू हुआ। जिसे जल्द ही पूरा कर लिया गया। हालांकि निर्माण के बाद कई बार आई बाढ़ से निर्माण भी प्रभावित हुआ। सीढ़ियों के कुछ हिस्से भी क्षतिग्रस्त हो गए।
बनाया गया टिकट काउंटर
ककोलत में प्रवेश के लिए 10 टिकट काउंटर बनाए गए हैं। प्रवेश शुल्क 10 रुपए निर्धारित किया गया है। दो पहिया वाहनों के लिए पार्किंग शुल्क 20 रुपए, तीन पहिया वाहनों के लिए 30 रुपए, चार पहिया वाहनों के लिए 50 रुपए तथा बसों व भारी वाहनों के लिए 100 रुपए निर्धारित किया गया है।
पर्यटकों को लुभाएगी ककोलत
उद्घाटन होने के बाद ककोलत में पर्यटकों की लंबी लाइन लगने की संभावना है। बोलबम से लौटने वाले कांवरियों का जत्था ककोलत जाने से अपने आप को नहीं रोक पायेंगे। नए लुक में ककोलत लोगों को आकर्षित करेगी।
मुख्यमंत्री के आगमन को लेकर प्रशासन चौकस
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार 29 जुलाई को ककोलत आ रहे हैं। इसकी तैयारी में प्रशासन दिन-रात जुटा हुआ है। पुलिस की चौकसी बढ़ा दी गई है। प्रशासन ककोलत जलप्रपात को अभेद्य किला बनाने में जुटा है।