नवादा : के के पाठक जब से शिक्षा विभाग का कमान संभाले हैं तब से काफी सुर्खियां बटोर रहे हैं। साथ ही फैसलों को लेकर भी चर्चा में बने रहते हैं। के के पाठक का शिक्षा विभाग को संभालने के बाद से यह भी कहा जा रहा है कि बिहार की शिक्षा व्यवस्था में काफी सुधार हुआ है। सब नियमित तरीके से हो रहा है। लेकिन, ख़बर नवादा जिले से हैं जहां बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। कोई भी शिक्षक समय से ना स्कूल पहुंच रहे हैं और ना ही निर्धारित समय तक स्कूल खुल रहा है।
कई विद्यालयों में लटक रहा ताला
ख़बर नवादा जिले के उग्रवाद प्रभावित सिरदला प्रखंड के सांढ- मँझगांव पंचायत की प्राथमिक विद्यालय मुगल सराय पंचानपुर, प्राथमिक विधालय लक्ष्मी बीघा, प्राथमिक विधालय हारनारायण पुर, प्राथमिक विधालय, जय नगर, प्राथमिक विधालय ग्रहौनी एवं प्राथमिक विधालय सोनारी की है। जहां, प्रभारी प्रधानाध्यापक के साथ सहायक शिक्षक भी अपने आपको किसी डी०पी०ओ० व डी०ई०ओ० से कम नहीं समझते है। अपने मन के अनुसार विद्यालय आते हैं और समय से पहले विद्यालय बंद कर के चले जाते हैं।
आला अधिकारी का कोई डर नहीं
वहीं, अगर बात लक्ष्मी बीघा एवं पंचानपुर विद्यालय की करें तो कई दिनों से खुले भी नहीं। पंचानपुर विधालय की रसोइया संगीता देवी व अन्य ग्रामीण महिलाओं ने बताया कि विद्यालय होली के बाद से अबतक बंद है। अब सवाल यह उठता है कि इनलोगों को शिक्षा विभाग के कितने बड़े-बड़े आला अधिकारी से जान पहचान है कि इतनी बड़ी दुस्साहस के बावजूद अभी तक ना तो कोई जांच करने के लिए आया ना ही कोई कार्रवाई की गई। जांच के नाम पर खानापूर्ति की जा रही है। ऐसे में एमडीएम की कालाबाजारी तो हो ही रही है, बच्चों का भविष्य भी बर्बाद हो रहा है।