बिहार में इस वर्ष होने वाले विधानसभा चुनाव में अभी 4—5 महीने की देरी है। लेकिन नेताओं की पालाबदल और इधर—उधर वाली हरकत अभी से शुरू हो गई है। खबर है कि जदयू और मांझी की पार्टी हम से जुड़े कई नेताओं ने आज मुकेश साहनी की पार्टी वीआईपी का दामन थाम लिया है। पाला बदल करने वालों में जदयू के प्रवक्ता रहे और आईएमए के उपाध्यक्ष डॉ. सुनील सिंह और जीतन राम मांझी की पार्टी हम के महासचिव डॉ. अमिताभ सिन्हा और डॉ. विनोद कुमार शामिल हैं। कुल मिलाकर आज करीब 15 नेताओं ने वीआईपी पार्टी ज्वाइन की।
इस मौके पर डॉ. सुनील सिंह ने कहा कि वे करीब 15 वर्षों तक नीतीश कुमार के साथ रहे। लेकिन अब वे सुशासन से दूर हो गए हैं। अब नीतीश उम्रदराज भी हो गए हैं और उनकी मानसिक स्थिति भी खराब हो गई है। ऐसे में विकास संभव नहीं है। अब नीतीश कुमार दो चार नेताओं से घिर गए हैं। एक दिन मुकेश सहनी जब आंख दिखाने आए तो हमने उनकी आंख में बिहार विजन की तस्वीर देखी। और सबसे बड़ी बात यह कि उनका विजन स्पष्ट है कि जो संसाधन बिहार के पास है उसी में बिहार का बेहतर विकास हो सकता है। इसके साथ ही मुकेश साहनी के समक्ष डॉ. सुनील सिंह के साथ ही हम पार्टी के नेता डॉ. विनोद और जेनरल सर्जन डॉ. अमिताभ ने वीआईपी की सदस्यता ली।
इस अवसर पर बोलते हुए वीआईपी नेता मुकेश सहनी ने कहा कि राज्य में महागठबंधन की सरकार बनने जा रही है। मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव और वो उपमुख्यमंत्री बनेंगे। सरकार बनते ही राज्य की चरमराती स्वास्थ्य व्यवस्था को सुधारने का प्रयास करेंगे। उन्होंने कहा- ‘मेरे पास स्पष्ट विजन है। अभी यह हो रहा है कि प्रखंड अस्पताल में आए मरीज को एक सेकंड में जिला अस्पताल रेफर कर दिया जाता है और जिला भी एक सेकंड में राजधानी के अस्पताल में रेफर कर देता है। महागठबंधन की सरकार आएगी तो जिला अस्पताल को दुरुस्त किया जाएगा और रेफर करने के खेल को समाप्त किया जाएगा।