नवादा : मंझवे-ककोलत पथ निर्माण का 80% प्रतिशत कार्य सम्पन्न हो जाने के बावजूद भू-अर्जन की राशि से पूरी तरह वंचित किसानों ने सड़क पर उतर आंदोलन किया और कार्य बंद कराने की चेतावनी दी । ककोलत रोड मुआवजा समिति के तत्वावधान में समाजसेवी मसीह उद्दीन के नेतृत्व में भू-अर्जन से प्रभावित लोगों ने सड़क पर उतर कर नारेबाजी की और सरकार से ज़मीन मुआवजा की मांग की।
श्री मसीह उद्दीन ने बताया कि राज्य उच्च पथ संख्या-103 (मंझवे -ककोलत पथ) के सुदृढ़ीकरण और चौड़ीकरण का कार्य शुरू करने के पूर्व जिला भू-अर्जन पदाधिकारी और बिहार राज्य पथ विकास निगम के उप महाप्रबंधक ने आश्वासन दिया था कि सड़क किनारे की अर्जित भूमि का कमर्शियल मुआवजा दिया जायेगा, परंतु तीन वर्ष बीत जाने के बावजूद अबतक एक भी ब्यक्ति को मुआवजा राशि का भुगतान नहीं किया गया है, जबकि निर्माण कार्य का 80% कार्य पूरा हो चुका है।
पथ के गुरूचक,डीही,रजहत,बलिया बुजुर्ग और पचरूखी राजस्व गाँव के सड़क किनारे की भूमि का बाज़ार मूल्य दस लाख रूपये प्रति डिसमील है परंतु भू -अर्जन कार्यालय द्वारा मात्र दस हजार रुपये प्रति डिसमील के कागजात तैयार किये जा रहे हैं जो ऊंट के मुंह में जीरा के समान है जिसके परिणामस्वरूप भू-अर्जन से प्रभावित स्थानीय लोगों में ब्यापक आक्रोश है।
उन्होंने बताया कि नवादा के जिला पदाधिकारी ने मुआवजा से वंचित स्थानीय लोगों में पनपते आक्रोश को देखते हुए अपने पत्रांक 616 दिनांक 19-05-2025 के माध्यम से प्रभावित लोगों की समस्या के निराकरण हेतु नवादा के अपर समाहर्ता के नेतृत्व में छ: सदस्यीय समिति गठित की थी, परंतु उक्त समिति ने न तो इस समस्या की स्थलीय जांच की और न ही जिला पदाधिकारी को वांछित रिपोर्ट सौंपी है। फलस्वरूप मुआवजा समिति ने चरणबद्ध आन्दोलन करने का निर्णय लिया है।
आंदोलन में वरिष्ठ कांग्रेस नेता ललन सिंह,अरविन्द घोष,काजी मोहम्मद मुनअम,सुबोध सिंह, फखरूद्दीन खां,नरेश चौधरी,अबुल कलाम, कमल किशोर बिंदु, अरमान अंसारी,सुहैल अंसारी, मोहम्मद जफर,रोहन साव, आदिल अंसारी, रूपेश कुमार, सैयद रेहान, फराज उद्दीन, मोहम्मद असगर, मुस्लिम अंसारी, निजाम अंसारी, मोहम्मद जमील अहमद, सियाराम सिंह, जहीर खां, अखिलेश यादव और पप्पु शाह आदि प्रमुख लोगों ने भाग लिया।
भईया जी की रिपोर्ट